CHHATTISGARH PARIKRAMA

सरकारी लोन, बीमा और कानूनी अधिकार पर एसबीआई ने ली जोबी कॉलेज में फाइनेन्शियल क्लास

रायगढ़ः-शहीद वीर नारायण सिंह शासकीय महाविद्यालय जोबी में भारत सरकार नई दिल्ली की डीएसटी, आईबीआईटीएफ और आईआईटी भिलाई के सौजन्य एवं पं. रविशंकर शुक्ल वि.वि. व जोबी महाविद्यालय के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित ’वित्तीय साक्षरता कार्यशाला’ के दूसरे दिन विद्यार्थियों को शासन की वित्तीय योजनाओं और जीवन सुरक्षा के बारे में जानकारी दी गई।

शुरूआत एसबीआई की शाखाओं से आए क्रमशः वित्तीय साक्षरता काउंसलर श्री आरके शर्मा एवं एसबीआई से ही ग्रामीण स्वरोजगार संस्थान रायगढ़ से डिजिटल एवं वित्तीय श्री चार्ल्स एक्का सहित जिला न्यायालय अधिवक्ता सुश्री आरती सेवक जायसवाल के आतिथ्य सत्कार से हुई। प्राचार्य श्री आरके थवाईत ने कार्यशाला के उद्देश्य पर प्रकाश डालते हुए कहा कि अब सिर्फ ’’क,ख,ग,घ को जानो, अलिफ से पढ़ना सीखो से ही पूरा काम नहीं चलेगा’’, क्योंकि अब हम विकसित भारत की ओर तेजी से बढ़ रहे हैं, अब पूर्णरूपेण साक्षरता की परिभाषा में वित्तीय प्रबंधन भी अनिवार्य हो गया है। सत्राम्भ में श्री शर्मा ने धनोपार्जन के तीन मूल स्त्रोत उत्पादन, व्यवसाय और नौकरी को बताते हुए फर्जी कंपनियों के लॉटरी लग जाने वाले झांसे में न आने और फिशिंग एण्ड मिसिंग यानी एआई तकनीक से परिजनों की आवाज में बदल कर पैसे ठगने वालों की क्रॉस चैकिंग करने की समझाईश दी। बढ़ते क्रम में उन्होंने विद्यार्थियों को समझाया कि अगर आपके पास पढ़ाई या व्यवसाय के लिए पैसे नही हैं या लोन की जरूरत है तो इधर-उधर की चिटफंड कंपनियों में भटकने की जगह सरकारी योजनाएं जैसे पढ़ाई के लिए विद्या लक्ष्मी पोर्टल से मिलने वाले 4 लाख रूपए और पढ़े लिखे बेरोजगारों के स्व व्यवसाय के लिए शिशु, किशोर व तरूण मुद्रा लोन में क्रमश एक, दस व बीस लाख रूपए तक लाभ लेने की सलाह दी। साथ ही उन्होंने महज 20 रूपए एवं 436 रूपए सालाना में जैसे सरकारी बीमा करवाने की अपील की।

दूसरी पाली में श्री एक्का ने बैंकिंग डिजिटल युग के बारे में संक्षेप में बताते हुए एसबीआई से लेकर प्राइवेट बैंकों और सीएचसी सेन्टर एवं कियोस्क सेवाओं तक के बारे में जानकारी दी, साथ ही बताया कि कुछ सेन्टरों को कमीशन बेस्ड बताया और कहा कि कुछ लोग वहां भी काम जल्दी निकलवाने के चक्कर में अलग से भी पैसे दे देते हैं, जब्कि ऐसा नहीं करना है। उन्होंने बजट बनाना, ईमानदारी से धनोपार्जन करना, बचत, निवेश और ऋण के सदुपयोग की बात कर पैसे के पांच सिद्धांतों को अपनाने की सीख दी।

तीसरे चरण में अधिवक्ता सुश्री जायसवाल ने गुड अर्निंग और बैड अर्निंग से कानूनी दायरे पर व्याख्यान देते हुए कहा कि पैसा तो सभी कमाते हैं, लेकिन कुछ लोग कमाने के लिए डिजिटल फ्रॉड करते हैं और भोले-भाले जो जागरूक नहीं हैं पल भर में जिंदगी भर की कमाई ठग लेते हैं। आपको उनसे बचना है। यदि कोई फ्रॉड होता है तो डरें नहीं बल्कि तत्काल 24 घंटे में ही नजदीकी पुलिस थाने में रिपोर्ट लिखाएं। देर करने से एविडेंस गायब हो जाते हैं फ्रॉड करने वाले सारे रिकार्ड्स डाटा डिलिट कर देते हैं। ऐसे में न्याय मिलना बहुत कठिन हो जाता है। अंतिम चरण में कुशल मंच संचालक सहायक प्राध्यापक श्री वीपी पटेल ने महाविद्यालय प्रबंधन की ओर से प्रशिक्षकों को स्मृति चिन्ह भेंट कर धन्यवाद कर ज्ञापित किया। इस दौरान ग्रामीण बैंक जोबी शाखा के प्रबंधक श्री देवेश कुमार गोस्वामी का बैकिंग करियर निर्माण पर मार्गदर्शन एवं प्रबंधकीय कार्य में सहायक प्राध्यापक श्री वाईके राठिया का योगदान सराहनीय रहा।

एसबीआई आरसीटी में फ्री ट्रेनिंग लो, खुद के पैरों में खड़े हो

जोबी महाविद्यालय में ही पढ़ी और एसबीआई रायगढ़ के आरसीटी सेंटर में प्रशिक्ष्ण ले चुकी पूर्व छात्रा कु. रिंकी डनसेना ने जूनियर्स को बताया कि उन्होंने इन आरसीटी सेंटरर्स में कम्यूटर, सिलाई, पार्लर वर्क, कैमरा मैन जैसे हुनर निशुल्क प्रशिक्षण दिया जाता है। एक महीने के प्रशिक्षण में आपका रहना, खाना भी मुफ्त में ही होता है। आज मेरे बैच के कई लोग वहां से ट्रेंड होकर रोजगार कमा रहे हैं। इसलिए, पढ़ाई के साथ-साथ हुनर पर भी ध्यान दो।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button